चिकित्सिक के गलत उपचार से दो साल से पीड़िता परेशान जिलाधिकारी को सौपा ज्ञापन

चिकित्सिक के गलत उपचार से दो साल से पीड़िता परेशान जिलाधिकारी को सौपा ज्ञापन

UP Special News

मैनपुरी(जनमत):- उत्तर प्रदेश सरकार ने सरकारी अस्पतालों में बीमारियों का अच्छा उपचार कराने के उद्देश्य से लगातार गाइडलाइंस जारी करती रहती है कि कोई भी सरकारी चिकित्सक प्राइवेट उपचार नहीं करेगा और यदि करेगा तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी इसके बावजूद भी जनपद मैनपुरी में जिला चिकित्सालय में तैनात एक चिकित्सक चिकित्सालय में आने वाले बीमारी से पीड़ित लोगों को प्राइवेट उपचार करने की सलाह देता है और चिकित्सक द्वारा एक निजी अस्पताल में ले जाकर उपचार करनेऔर मनमाने तरीके से उपचार के नाम पर पैसे वसूलने का कार्य करता है उपचार गलत हो जाने के बाद कुछ दिनों तक ट्रीटमेंट चलाते हुए पल्ला झाड़ लेता है

ऐसा ही मामला जनपद मैनपुरी के जिला चिकित्सालय से निकल कर आया है महाराजा तेज सिंह जिला चिकित्सालय में तैनात डॉ गौरव पारिख  अतिरिक्त खाऊ कमाऊ नीति के चलते डेढ़ वर्ष पूर्व बिछवा थाना क्षेत्र के आलमपुर निवासी प्रदीप कुमार अपनी पत्नी का उपचार कराने के लिए जिला अस्पताल में पहुंचे जहां चिकित्सक ने प्रदीप को बताया कि आपकी पत्नी को रसौली की बीमारी है इसका जल्द से जल्द ऑपरेशन होना है सरकारी अस्पताल में ऑपरेशन की पूर्ण सुविधा नहीं है इसलिए अस्पताल में प्राइवेट उपचार होना संभव होगा रसौली की बीमारी सुनते ही पीड़िता विमलेश कुमारी के होश उड़ गए और वह प्राइवेट उपचार कराने के लिए तैयार हो गई|

तभी डॉ0 गौरव पारिख अपने एक निजी अस्पताल में ले जाकर 60,000 रुपया जमा कर उसका गर्भाशय ऑपरेशन के द्वारा निकाल कर बाहर कर दिया इसके बावजूद भी उक्त पीड़िता ठीक नहीं हो सकी आज भी उसके गुप्तांग से मल और ब्लैड लगातार जारी है आरोप है कि डॉक्टरों ने एक से लेकर डेढ़ लाख रुपए तक खर्च करवाने के बावजूद भी उपचार सही नहीं किया है गलत उपचार को लेकर पीड़िता ने जिला अधिकारी मुख्य चिकित्सा अधिकारी को ज्ञापन सौंपते हुए चिकित्सक के विरुद्ध कानूनी कार्रवाई करने की मांग की है वही इस संबंध में पीड़िता ने मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश सरकार को भी फैक्स कर शिकायत करते हुए न्याय की गुहार लगाई है|

Reported By:- Gaurav Pandey

Posted By:- Amitabh Chaubey