गर्भवती महिलाओं को मुफ्त रक्त बिना डोनर मुहैया करायें…

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लखनऊ (जनमत):- सरकारी अस्पताल-मेडिकल संस्थानों में गर्भवती महिलाओं को आवश्यकतानुसार मुफ्त रक्त उपलब्ध कराया जाये। यही नहीं गर्भवती महिलाओं के परिजन पर रक्त डोनेशन का दबाव भी न डाला जाये। बिना डोनर गर्भवती महिलाओं को रक्त उपलब्ध कराया जाये। इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाये। शिकायत मिलने पर जिम्मेदारों पर कार्रवाई होगी।
उत्तर प्रदेश में हर साल करीब 56 लाख से अधिक प्रसव हो रहे हैं। सरकारी अस्पताल में गर्भवती महिलाओं के फ्री इलाज की सुविधा है। ओपीडी में डॉक्टर की सलाह, जाँच और प्रसव की सुविधा भी निशुल्क है। बड़ी संख्या में गर्भवती महिलाओं में रक्त की कमी पाई जाती है। महिलाये शुरूआत से सेहत पर ध्यान दें तो उन्हें रक्त चढ़ाने से बचाया जा सकता है। इसके बावजूद यदि गर्भवती महिलाओं को रक्त चढ़ाने की जरूरत पड़ रही है तो चिंता न करें। सरकारी अस्पताल व मेडिकल संस्थानों में गर्भवती महिलाओं को मुफ्त रक्त बिना डोनर मुहैया कराने का नियम है। इस नियम को सख्ती से लागू किया जाये। इसमें किसी भी प्रकार से गर्भवती महिला व परिजन को परेशान न किया जाये।

जाँच का बजट जारी
नेशनल हेल्थ मिशन (एनएचएम) की तरफ से गर्भवती महिलाओं की सामान्य जांच हेतु 20,00,00,000 रुपये का बजट आवंटित किया है। वहीं पीएमएसएमए में 3,93,00,000 रुपये का बजट गर्भवती महिलाओ की अल्ट्रासाउंड जांच के लिए जारी किया गया है। जननी सुरक्षा योजना के तहत 90 फीसदी धनराशि जनपदों को जारी कर दी गई है।

बयान
मातृ एवं शिशु मृत्युदर में कमी लाने के लिए शहर से लेकर ग्रामीण क्षेत्र के अस्पतालों की व्यवस्था को पुख्ता किया जा रहा है। महिला जिला चिकित्सालयों से लेकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में गर्भवती महिलाओं की पैथोलॉजी व रेडियोलॉजी जाँच की व्यवस्था को पुख्ता किया जा रहा है। गर्भवती महिलाओं को चिकित्सालय 102 एम्बुलेंस सेवा से मुफ्त पहुंचाया जा रहा है। प्रसव के बाद जच्चा और बच्चा को घर तक छोड़ने का प्रबंध किया गया है। इसमें किसी भी तरह की शिथिलता न बरती जाये। गर्भवती महिलाओं को टिटनेस के दो टीके जरूर लगवायें।

PUBLISHED BY:- ANKUSH PAL…